सेंट्रल मार्केट को लेकर आज है सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई,
आवासीय भूखंडों पर बना है मार्केट,
शारदा रिपोर्टर मेरठ। सेंट्रल मार्केट मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा मांगी गई 499 भूखंडों/आवासों पर अवैध रूप से चल रही व्यावसायिक गतिविधियों की रिपोर्ट के बाद आवास विकास परिषद ने सर्वे के बाद लिस्ट तैयार कर ली है। पांच दिन से चले सर्वे को देखकर सेंट्रल मार्केट के व्यापारियों में हड़कंप मचा हुआ है। सेंट्रल मार्केट के व्यापारी इस बात को लेकर परेशान हैं कि अगर कोर्ट के आदेश के बाद उनके प्रतिष्ठान अवैध पाए गए, तो वह कहां जाएंगे।
शास्त्री नगर के सेंट्रल मार्केट में सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई में आवास विकास को 499 आवासीय प्लाटों की वर्तमान स्थिति की रिपोर्ट उपलब्ध कराने का आदेश दिया था। वहीं, इस आदेश के बाद आवास विकास के अधिशासी अभियंता आफताब अहमद के नेतृत्व में बनी 15 सदस्यीय सर्वे टीम ने पांच दिन तक सर्वे किया। जबकि, टीमों ने क्षेत्र में जाकर घरों का सर्वे भी किया। शाम तक चले सर्वे में टीमों ने उन सभी मकानों और भूखंडों की रिपोर्ट तैयार की, जो आवासीय श्रेणी में आने के बाद भी उन पर व्यावसायिक गतिविधियों को अंजाम दिया जा रहा है।
जिसके बाद इस मामले में आवास विकास के अधिशासी अभियंता आफताब अहमद के नेतृत्व में आवास विकास की टीम ने सेक्टर 4 और 5 में जाकर संपत्तियों की जांच की और उनका भू-उपयोग देखा। वहीं, इस मामले में आवास विकास के अधीक्षण अभियंता राजीव कुमार ने बताया कि, प्रोपर्टी का पूरा रिकॉर्ड तैयार किया जा रहा है। जिसके बाद उसकी पूरी रिपोर्ट भेज दी जाएगी।
दस साल से चल रहा है मामला : सेंट्रल मार्केट के अवैध होने का मामला पिछले दस साल से चल रहा है। इस मामले में एक बार हाईकोर्ट के आदेश पर आवास एवं विकास परिषद ने कार्रवाई की तैयारी भी की थी। लेकिन व्यापारियों और भाजपा नेताओं के दबाव में विभाग कार्रवाई नहीं कर पाया। इस दौरान व्यापारी सुप्रीम कोर्ट चले गए। जहां पर यह मामला चल रहा है।
सेंट्रल मार्केट के अवैध होने का मुद्दा उठाने वाले आरटीआई एक्टिविस्ट लोकेश खुराना का कहना है कि पूरा सेंट्रल मार्केट लगभग अवैध है। आवास एवं विकास परिषद ने जब शास्त्रीनगर योजना लांच की थी, तब सिर्फ एक बड़ा भूखंड व्यवयायिक कांप्लेक्स के लिए छोड़ा था। बाकी सभी आवासीय भूखंड थे। लेकिन अब पूरा सेंट्रल मार्केट ही नहीं, बल्कि उसके आसपास का क्षेत्र भी व्यवसायिक गतिविधियों में संचालित है। इसी को लेकर उन्होंने वाद दायर किया हुआ है।