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सावधान: जंगल से भागे तेंदुओं को भा रहे गन्ने के खेत, करने लगे हमला

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तेंदुए

– गन्ना बढ़ने के साथ ही बेखौफ हुए तेंदुए, खेतों से बाहर आकर करने लगे हमला
– हस्तिनापुर के लतीफपुर में घर के आंगन में सो रहे बच्चे पर तेंदुए ने किया हमला
– किठौर के छुछाई गांव में भी दो दिन पहले बाइक सवार पर मारा था झपट्टा


शारदा रिपोर्टर मेरठ। बिजनौर के कालागढ़ टाइगर रेंज में बाघों की संख्या और उनके घूमने का दायरा बढ़ने के साथ ही तेंदुओं को जंगल से भागना पड़ रहा है। यही कारण है कि अब तेंदुए बिजनौर से निकलकर मेरठ सहित आसपास के जनपदों तक पहुंच गए हैं। यहां इन्हें गन्ने के खेत बहुत रास आ रहे हैं।

कालागढ़ टाइगर रेंज में रहने वाले वन गुर्जरों को वहां से हटाकर हरिद्धार के पास स्थापित कर दिया गया है। ऐसे में अब टाइगर जो कि पहले बहुत सीमित दायरे में भ्रमण करता था, वह खुलकर जंगल में घूम रहा है। इसके चलते बाघों की संख्या भी बढ़नी शुरू हो गई है। लेकिन जैसे-जैसे बाघों के घूमने का दायरा उनकी संख्या बढ़नी शुरू हुई, वैसे-वैसे तेंदुओं की जान पर बन आई। जिसके कारण तेंदुए जंगल से बाहर की तरफ शरण लेना शुरू हो गए।
वन्य जीव विशेषज्ञों के अनुसार तेंदुए के लिए गन्ने के खेत सबसे ज्यादा महफूज जगह हैं। गांव से लगे हुए गन्ने के खेतों में उन्हें नीलगाय, खरखोग, पहाड़ा आदि के साथ कुत्ते, बिल्ली आदि भी भोजन के लिए मिल जाते हैं। ऐसे में बेखौफ यहां रह रहे तेंदुए जहां पहले से ज्यादा तंदरूस्त हो गए हैं, वहीं इनकी प्रजनन दर भी बढ़ गई है।

इसके अलावा जो खतरनाक पहलू गुलदार को लेकर आया है, वह यह है कि जंगल में वह बाघ के डर से थोड़ा शांत रहता था। लेकिन गन्ने के खेत में आने के बाद वह खुद बेखौफ हो गया है। यही कारण है कि उसकी प्रवृत्ति अब ज्यादा हमलावर हो गई है। तेंदुए को इस समय खादर क्षेत्र सबसे ज्यादा भा रहा है।

गंगा किनारे के इस वन्य जीव अभ्यारण्य में वैसे भी जंगली जानवर खासी संख्या में है। लेकिन यहां पर आबादी भी होने के कारण यह पालतु पशुओं और मनुष्यों पर भी हमलावर होने लगा है। बीती रात हस्तिनापुर क्षेत्र के गांव लतीफपुर के कंकरखेड़ा मोहल्ले में रहने वाली सोनी कौर के घर रात करीब 11 बजे तेंदुए ने दस्तक दे दी। सोनी कर ने बताया कि उसकी चारपाई के पास ही उसके 10 वर्षीय बेटे गुरचरण की चारपाई पड़ी हुई थी और वह सो रहे थे। उसके बाद उसने शोर मचा दिया उसके साथ ससुर और आसपास के लोग दौड़ पड़े जिन्हें देखकर तेंदुआ मौके से भाग निकला।

गनीमत रही कि बच्चा घायल नहीं हुआ। इसके बाद परिवार पूरी तरह दहशत में आ गया मामले की सूचना मिलते ही ग्राम प्रधान दिलदार सिंह और सैकड़ो ग्रामीण लाठी डंडों और अपने लाइसेंसी हथियारों के साथ मौके पर पहुंचे। ग्राम प्रधान दिलदार सिंह ने गांव में तेंदुआ होने की सूचना वन विभाग की टीम को दी गई। वन विभाग की टीम ने पीड़ित परिवार से पूछताछ करने के बाद तेंदुए की तलाश की परंतु आसपास उसका कोई पता नहीं चल सका। उधर गांव में तेंदुए होने की सूचना आज की तरफ फैल गई और ग्रामीण पूरी तरह दहशत में आ गए हैं। मंगलवार को भी लोग खेतों में जाने से बचते नजर आए।

यही नहीं रविवार शाम को किठौर क्षेत्र में एक बाघ द्वारा बाइक सवार पर झपट्टा मारने का वीडियो वायरल हुआ। यह ग्राम छुछाई मार्ग का वीडियो बताया जा रहा है। यहां उल्लेखनीय है कि किठौर क्षेत्र में पहले भी तेंदुए के बच्चे और तेंदुए रेस्क्यू किए जा चुके हैं। वहीं वन विभाग के अनुसार हस्तिनापुर वन्य क्षेत्र में तेंदुए के साथ-साथ भेडिए, हिरण, पहाड़ा, नीलगाय, जंगली सुअर, खरखोग आदि जानवर काफी संख्या में है।

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