Monday, August 4, 2025
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हिंदू बनकर 15 साल से मंदिर में रहता था इमामुद्दीन, तीन आधार कार्ड-पैन कार्ड बरामद, 14 दिन की हिरासत में

– गांव में करा रहा था मंदिर का निर्माण।

शामली। पुलिस ने एक मुस्लिम व्यक्ति को गिरफ्तार किया। यह व्यक्ति मंदिर में पहचान छिपा कर रह रहा था। पुलिस ने शनिवार रात दबिश देकर उसे हिरासत में लिया। पूछताछ में पता चला कि वह पश्चिम बंगाल का रहने वाला मुस्लिम व्यक्ति इमामुद्दीन अंसारी (55) है। इमामुद्दीन थाना भवन इलाके के गांव मंटी हसनपुर में शनि मंदिर में बाबा बंगाली उर्फ बालकनाथ बनकर रह रहा था। पुलिस ने कोर्ट में पेश कर 14 दिन की न्यायिक हिरासत में लिया है। पुलिस ने उसके कब्जे से तीन आधार कार्ड और एक पैन कार्ड बरामद किया है।

एसपी रामसेवक गौतम ने बताया कि एक आधार कार्ड पर नाम बंगाली नाथ लिखा है। इसमें पता सहारनपुर के शाकंभरी रोड स्थित लक्ष्मीनारायण मंदिर के पास का है। अन्य दो आधार और पैन कार्ड में उसका असली नाम इमामुद्दीन अंसारी, निवासी कस्बा व थाना कालचीनी, जिला अलीपुरद्वार (पश्चिम बंगाल) दर्ज है। आरोपी के पिता का नाम मोहम्मद अंसारी है।

एसपी ने बताया कि आरोपी के खिलाफ धार्मिक भावनाएं आहत करने और कूटरचित दस्तावेज तैयार करने की धाराओं में केस दर्ज किया गया है। मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच एजेंसियां भी सक्रिय हो गई हैं।

पुलिस पूछताछ में इमामुद्दीन ने बताया कि वह करीब 15 साल पहले पश्चिम बंगाल से काम की तलाश में उत्तर भारत आया था। कई दिनों तक वह भटकता रहा। फिर सहारनपुर में बाबा कमलनाथ के संपर्क में आया। वहीं अपनी पहचान बदलकर रहने लगा। यहां उसकी पहचान सतपाल नाम के व्यक्ति से हुई, जो इमामुद्दीन को शाकुंभर कस्बे से लेकर आया। वह गांव में अपना नाम बंगाली नाथ बताता और खुद को सहारनपुर के लक्ष्मी नारायण मंदिर का निवासी कहता था।

ग्रामीणों को उसने अपने हिंदू होने का भरोसा दिलाया। वह मंदिर में रहकर नियमित रूप से पूजा-पाठ करता था। आस-पड़ोस की महिलाएं व लोगों का कहना है कि उन्हें इसके बारे में पहले से कोई जानकारी नहीं थी। किसी को उस पर शक भी नहीं हुआ कि वह मुस्लिम है। आरोपी ने ग्रामीणों पर विश्वास जमा लिया था।

इमामुद्दीन गांववालों से चंदा इकट्ठा कर मंदिर के पास खाली पड़ी जमीन पर नया मंदिर बनवा रहा था। गांव में उसकी पहचान “बंगाली बाबा” के तौर पर हो गई थी। किसी को शक नहीं हुआ कि वह मुस्लिम है। आरोपी इधर-उधर जाकर भीख मांगकर अपना पालन-पोषण करता था। उसके पास दूर-दराज से लोग बच्चों को झाड़वाने और झाड़-फूंक के लिए आते रहते थे।

ग्रामीण हैरान, हिंदू संगठनों में रोष

घटना के सामने आने के बाद ग्रामीणों में आक्रोश है। ग्राम प्रधान जगमेर सिंह ने कहा कि आरोपी ने नाम बदलकर गांववालों को धोखे में रखा, ऐसे व्यक्ति के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। विहिप और अन्य हिंदू संगठनों ने घटना पर रोष जताया है।

जिला मठ मंदिर प्रमुख भारत भूषण ने कहा कि यह अप्रत्याशित घटना है, पूरे जिले में संगठन जांच अभियान चलाएगा। विहिप के जिला सेवा प्रमुख विन्नी राणा और जिला महामंत्री शालू राणा ने कहा कि संगठन आरोपी पर कड़ी कार्रवाई की मांग करेगा और भविष्य में ऐसे षड्यंत्रों को सफल नहीं होने देगा।

पश्चिम बंगाल भेजी गई पुलिस टीम

एसपी ने बताया कि आरोपी के पते का सत्यापन और उसकी पृष्ठभूमि जांचने के लिए एक टीम पश्चिम बंगाल रवाना कर दी गई है। टीम यह भी पता लगाएगी कि आधार कार्ड में नाम किस जगह और कैसे बदला गया, और इसमें कौन-कौन लोग शामिल थे। फिलहाल उसके पास किसी बैंक खाता या आपत्तिजनक दस्तावेज की जानकारी नहीं मिली है। जांच में यह भी सामने आया है कि उसने कहीं धर्म परिवर्तन नहीं किया था।

 

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