– चंदौसी में एशिया की सबसे ऊंची 145 फीट की नृत्यमुद्रा वाली गणेश प्रतिमा।
संभल। कस्बा चंदौसी में श्री गणेश चतुर्थी रथयात्रा में और मेले में आने वाले श्रद्धालु 145 फीट ऊंची एशिया की पहली नृत्य रूप में गणेश प्रतिमा के दर्शन करेंगे। श्री गणेश मेला ट्रस्ट प्रबंधक मनोज गुप्ता ने बताया कि 65 साल पहले हमारे बाबा भूपाल दास ने इसकी शुरूआत की थी। पहले छोटी सी गणेश प्रतिमा नगर में भ्रमण करती थी। धीरे-धीरे यह आयोजन बढ़ता गया और विशालकाय रूप में हो गया। आज लगभग 30 झांकियां रथयात्रा में निकलती हैं। इसमें जो स्वचालित झांकियां निकलती हैं, उसके जनक मेरे पिता डॉ. गिरिराज किशोर गुप्ता रहे। हम लोग तीसरी पीढ़ी अब इसका आयोजन करने में लगे हुए हैं। मेले में लगभग 400 दुकानें लगती हैं। गणेश चतुर्थी की रथयात्रा में लगभग 10 लाख से अधिक श्रद्धालु पूरे देश से आते हैं। चंदौसी के सभी घरों में रिश्तेदार इस रथयात्रा को देखने आते हैं।
एक छोटी सी प्रतिमा से चंदौसी में गणेश चतुर्थी की शुरूआत हुई थी। किसी ने सोचा भी नहीं था इतनी बड़ी यात्रा बनेगी। इसमें जनता, पुलिस प्रशाशन सभी का सहयोग रहा है। यूपी से कोई ऐसी जगह नहीं है, जहां से रथ यात्रा देखने कोई न आता हो। चंदौसी इस दिन गणेश मय हो जाती है।
मनोज गुप्ता ने बताया कि इस मूर्ति का निर्माण मेरे पिता डॉ. गिरिराज किशोर गुप्ता ने शुरू कराया। यह एशिया की नृत्य मुद्रा में गणेशजी की पहली मूर्ति है। हमने गिनीज बुक आॅफ रिकॉर्ड में दर्ज करने के लिए पत्र दाखिल किया हुआ है। लेकिन अभी गिनीज बुक आॅफ रिकॉर्ड का सर्टिफिकेट हमें नहीं मिला है।
जिस दिन वो सर्टिफिकेट हमें मिल जाएगा तो यह गणेश प्रतिमा गिनीज बुक आॅफ रिकॉर्ड में दर्ज होगी। यह नृत्य मुद्रा में गणेश जी की प्रतिमा 145 फुट ऊंची है। यह कंक्रीट और वाइट मार्बल से बनी हुई है।
हमने योगी आदित्यनाथ को इस मूर्ति के उद्घाटन का निमंत्रण दिया था। उन्होंने स्वीकार भी कर लिया है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जब संभल विजिट पर बीती 7 अगस्त को आए थे। तब उन्होंने मंच से कहा था कि बहुत जल्दी चंदौसी आऊंगा, मुझे एक बहुत बड़ी प्रतिमा का अनावरण करना है।



