2003 के बाद किसी भी आईसीसी टूर्नामेंट में न्यूजीलैंड को चार विकेट से हराने में भारत ने सफलता हासिल की। धर्मशाला की ठंडी पहाड़ियों के बीच विराट कोहली ने यादगार 95 रन बना कर जीत पक्की कर दी थी। भारत के बॉलर मोहम्मद शमी ने पांच विकेट लेकर कीवियों को झटका दिया था।
विराट कोहली ने इस वर्ल्ड कप में एक मैच को छोड़ कर शतक के साथ बेहतरीन पारी खेली है। आज भी टीम इंडिया के कप्तान रोहित शर्मा और शुभमन गिल ने धमाकेदार शुरुआत की।
आदमी पर मौखिक पत्थर फेंको और वह उन्हें मील के पत्थर में बदल देगा। विराट कोहली ने ऐसा ही करके दिखाया। कोहली भले ही सचिन तेंदुलकर के शतक नंबर 49 तक नही पहुंच पाए लेकिन उनके 95 रनों ने टीम को जीत दिलवाने में मदद की। कोहली की एक और शानदार पारी की बदौलत भारत ने 274 रन का लक्ष्य हासिल कर लिया। उनका परीक्षण एक ऐसी टीम द्वारा किया गया जो इसमें आने वाली तालिका में शीर्ष पर थी। लेकिन भारत ने उन्हें सफलतापूर्वक जवाब दिया। भारत के लिए भी पांचवां सफल रन चेज़ रहा। रोहित, गिल, लायर, राहुल सभी ने अच्छी शुरुआत की लेकिन किसी ने भी उसे किसी बड़े प्रदर्शन में नहीं बदला। कोहली ने एंकर छोड़ा और भारत को उनके लक्ष्य तक पहुंचाते रहे। उसे कभी भी अतिरिक्त जोखिम नहीं उठाना पड़ा और उसने अपनी योजना को अंतिम समय तक पूरा किया। सूर्य कुमार यादव को कुछ खराब कॉलिंग का खामियाजा भुगतना पड़ा और दुर्भाग्यवश वह रन आउट हो गया। लेकिन कोहली बिना किसी परवाह के आगे बढ़ते रहे। जड़ेजा आये और उन्होंने कोहली के साथ बेहतरीन दूसरी पारी खेली। न्यूजीलैंड की तरह डेरिल मिचेल ने शानदार 130 रन बनाए लेकिन बैटिंग में आज कीवी कोई धमाका नही कर पाए। हालांकि राचिन रविंद्रन जरूर 75 रन बनाने में सफल रहे।
विश्व कप में भारत द्वारा सफलतापूर्वक पीछा किये गये