•  देश में पहली बार स्पीकर पद के लिए होगा चुनाव। 
  • 18वें लोकसभा के स्पीकर पद को लेकर सियासत गरमा गई है

Lok Sabha Speaker Election: देश में पहली बार स्पीकर पद के लिए चुनाव होगा। एनडीए ने अध्यक्ष पद के लिए भाजपा सांसद ओम बिरला को मैदान में उतारा है। कांग्रेस सांसद के सुरेश ने 18वीं लोकसभा के अध्यक्ष पद के लिए अपना नामांकन दाखिल किया।

18वें लोकसभा के स्पीकर पद को लेकर सियासत गरमा गई है। देश के इतिहास में पहली बार लोकसभा स्पीकर को लेकर चुनाव होगा। सरकार और विपक्ष के बीच स्पीकर पद को लेकर सहमति नहीं बनी। विपक्ष डिप्टी स्पीकर पद मांग रहा था लेकिन मोदी सरकार इस पर राजी नहीं हुई, ऐसे में विपक्ष ने के सुरेश को स्पीकर पद के लिए उम्मीदवार बनाया गया।

लोकसभा स्पीकर पद को लेकर सहमित न बन पाने के बाद विपक्ष ने अपने उम्मीदवार का ऐलान कर दिया है। के सुरेश विपक्ष के स्पीकर पद के उम्मीदवार होंगे। उधर, एनडीए की ओर से लोकसभा स्पीकर पद के लिए ओम बिरला ने नामांकन दाखिल कर दिया है।

लोकसभा स्पीकर का चुनाव बुधवार को होना है। देश में यह पहला मौका होगा, जब स्पीकर पोस्ट के लिए चुनाव होगा। अभी तक सत्ता पक्ष और विपक्ष की सर्वसम्मति से स्पीकर चुना जाता था। लेकिन इस बार ये परंपरा टूटती नजर आ रही है।

इससे पहले रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से फोन पर बात की थी और स्पीकर पद पर समर्थन मांगा था। राहुल गांधी ने बताया कि विपक्ष स्पीकर पोस्ट पर समर्थन देने के लिए तैयार है, लेकिन विपक्ष को डिप्टी स्पीकर पोस्ट मिलनी चाहिए। लेकिन इस पर राजनाथ सिंह की ओर से कोई जवाब नहीं मिला।

इससे पहले राहुल गांधी ने बताया, राजनाथ सिंह का मल्लिकार्जुन खरगे को फोन आया। उन्होंने कहा कि आप हमारे स्पीकर को सपोर्ट करिए। पूरे विपक्ष ने साफ कहा है कि हम स्पीकर को सपोर्ट करेंगे। लेकिन डिप्टी स्पीकर पद विपक्ष को मिलना चाहिए। राजनाथ सिंह ने कल कहा था कि मल्लिकार्जुन खरगे को कॉल रिटर्न करेंगे। लेकिन उन्होंने कॉल रिटर्न नहीं किया।

कौन के सुरेश हैं ?

के सुरेश 8 बार के सांसद हैं। वे 1989, 1991, 1996, 1999, 2009, 2014, 2019, 2024 में सांसद चुने गए। के सुरेश केरल की मावेलिक्कारा सीट से कांग्रेस सांसद हैं। केंद्रीय मंत्री भी रह चुके हैं। सबसे अनुभवी सांसद होने के बावजूद उन्हें प्रोटेम स्पीकर नहीं चुने जाने पर विपक्ष ने विरोध जताया था। के सुरेश 1989 में पहली बार सांसद चुने गए थे। 2009 में वे कांग्रेस संसदीय दल के सचिव बने। मनमोहन सरकार में के सुरेश अक्टूबर 2012 से 2014 तक केंद्र में मंत्री रहे।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here