- एमएसपी गारंटी कानून और गन्ना मूल्य वृद्धि प्रमुख मांग।
शारदा रिपोर्टर मेरठ। भारतीय किसान यूनियन (टिकैत) के जिला अध्यक्ष अनुराग चौधरी के नेतृत्व में किसानों ने कमिश्नरी कार्यालय का घेराव किया। किसानों की बड़ी संख्या को देखते हुए पुलिस ने कार्यालय का गेट बंद कर दिया। इसके बाद किसान कार्यालय के बाहर धरने पर बैठ गए।
किसानों ने प्रशासनिक अधिकारियों को 150 मांगों का ज्ञापन सौंपा। प्रमुख मांगों में एमएसपी गारंटी कानून का निर्माण और दिल्ली आंदोलन के दौरान किए गए वादों को पूरा करना शामिल है। किसानों ने गन्ना मूल्य 450 रुपये प्रति क्विंटल करने और बकाया भुगतान तत्काल करने की मांग की।
ग्रामीण क्षेत्रों में स्मार्ट मीटर न लगाने और ट्यूबवेल मीटर व्यवस्था को समाप्त करने की मांग भी रखी गई। किसानों ने तहसीलों में व्याप्त भ्रष्टाचार पर चिंता जताई। उन्होंने मांग की कि 1000 से अधिक आबादी वाले गांवों को अलग करके नई ग्राम पंचायत बनाई जाए।
किसानों ने आवारा पशुओं की समस्या पर भी ध्यान दिलाया। उन्होंने कहा कि इनके कारण रोज दुर्घटनाएं हो रही हैं। मांग की गई कि इन्हें पकड़कर गौशाला में रखा जाए। साथ ही निजी स्कूलों की फीस, किताब और बस शुल्क की जांच के लिए निगरानी समिति बनाने की मांग की गई।
मंडल आयुक्त कार्यालय में हर तीसरे महीने किसानों, संगठनों और प्रशासन की बैठक आयोजित करने की मांग भी रखी गई। किसान नेताओं ने चेतावनी दी कि यदि मांगें नहीं मानी गईं तो बड़ा आंदोलन किया जाएगा।
कलक्ट्रेट पर किया कब्जा: कमिश्नर कार्यालय के बाद किसान कलक्ट्रेट में घुस आए और वहां पर कब्जा कर लिया। धरना देते हुए किसानों ने रागिनी गाई और सरकार को भी जमकर कोसा।