- सभी क्षेत्रों में रोजगार सृजन रोजगार क्षमता और सामाजिक सुरक्षा बढ़ाने की योजना।
- विनिर्माण क्षेत्र पर जोर और पहली बार काम करने वालों के लिए प्रोत्साहन।
शारदा रिपोर्टर मेरठ। पहली बार काम करने वालों को दो किस्त में एक महीने का वेतन अधिकतम (₹15000) मिलेगा, 1 लाख करोड रुपए के परिवेश के साथ 2 वर्षों में 3.5 करोड़ से अधिक रोजगार के सर्जन को समर्थन देने की योजना।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने विनिर्माण क्षेत्र पर विशेष जोर देते हुए सभी क्षेत्रों में रोजगार सृजन, रोजगार क्षमता और सामाजिक सुरक्षा को बढ़ाने के लिए रोजगार से जुड़ी प्रोत्साहन (ई एल आई) योजना को मंजूरी दे दी है। इस योजना के तहत जहां पहली बार रोजगार करने वाले कर्मचारियों को एक महीने का वेतन ₹15000 तक मिलेगा वहीं नियोक्ताओं को अतिरिक्त रोजगार पैदा करने के लिए 2 साल की अवधि के लिए प्रोत्साहन दिया जाएगा साथ ही भी विनिर्माण क्षेत्र के लिए 2 साल के लिए विस्तारित लाभ दिया जाएगा। ई एल आई योजना की घोषणा केंद्रीय बजट 2024-25 में प्रधानमंत्री की पांच योजनाओं के पैकेज के हिस्से के रूप में की गई थी, जिसका कुल बजट परिवेश 2 लाख करोड रुपए है।
ई एल आई योजना का लक्ष्य 99,446 करोड रुपए के परिव्यय के साथ दो वर्षो की अवधि में देश में 3.30 करोड़ से अधिक रोजगार के सृजन को प्रोत्साहित करना है। इनमें से 1.92 करोड़ लाभार्थी पहली बार कार्यबल में प्रवेश करने वाले होंगे। इस योजना का लाभ 1 अगस्त 2025 से 31 जुलाई 2027 के बीच सृजित रोजगार पर लागू होगा। इस योजना में दो भाग है जिसमें भाग A पहली बार आवेदन करने वालों पर केंद्र रहता है तथा भाग B नियोक्ताओं पर केंद्रित है।
भाग A: पहली बार काम करने वाले कर्मचारियों के लिए प्रोत्साहन।
ईपीएफओ के साथ पंजीकृत पहली बार काम करने वाले कर्मचारियों को ध्यान में रखते हुए इस भाग में एक महीने का ईपीएफ वेतन ₹15000 तक दो किस्तों में दिया जाएगा इसके लिए ₹100000 तक के वेतन वाले कर्मचारी पात्र होंगे। पहले क़िस्त 6 महीने की सेवा के बाद और दूसरी किस्त 12 महीने की सेवा और कर्मचारियों द्वारा वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम पूरा करने के बाद देय होगी। बजट की आदत को प्रोत्साहित करने के लिए प्रोत्साहन राशि का एक हिस्सा एक निश्चित अवधि के लिए जमा खाते के बीच साधन में रखा जाएगा और कर्मचारियों द्वारा बाद की तारीख में निकाला जा सकता है। भाग A से पहली बार रोजगार पर आने वाले लगभग 1.92 करोड़ कर्मचारियों को लाभ मिलेगा।
भाग B: नियोक्ताओं को सहायता
इस भाग में सभी क्षेत्रों में अतिरिक्त रोजगार सृजन को शामिल किया जाएगा जिसमें विनिर्माण क्षेत्र पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। नियोक्ताओं को ₹100000 तक के वेतन वाले कर्मचारियों के संबंध में प्रोत्साहन मिलेगा।
सरकार नियोक्ताओं को कम से कम 6 महीने तक निरंतर रोजगार वाले प्रत्येक अतिरिक्त कर्मचारियों के लिए 2 साल तक ₹3000 प्रति माह तक प्रोत्साहन देगी। विनिर्माण क्षेत्र के लिए प्रोत्साहन तीसरे और चौथे वर्ष तक भी बढ़ाया जाएगा।
ईपीएफओ के साथ पंजीकृत प्रतिष्ठानों को कम से कम 6 महीने के लिए निरंतर आधार पर कम से कम दो अतिरिक्त कर्मचारी (50 से कम कर्मचारी वाले नियुक्ताओं के लिए) या पांच अतिरिक्त कर्मचारी (50 या अधिक कर्मचारी वाले नियुक्ताओं के लिए) नियुक्त करने की आवश्यकता होगी।
*जिन कर्मचारियों का ईपीएफ वेतन ₹10000 तक है उन्हें अनुपातिक प्रोत्साहन राशि मिलेगी:
इस भाग से लगभग 2.60 करोड़ व्यक्तियों के लिए अतिरिक्त रोजगार सृजन हेतु नियुक्ताओं को प्रोत्साहन राशि मिलने की उम्मीद है।
प्रोत्साहन राशि के भुगतान हेतु प्रणाली:
योजना के भाग A के अंतर्गत पहली बार काम करने वाले कर्मचारियों को सभी भुगतान आधार ब्रिज भुगतान प्रणाली एबीपीएस का उपयोग करके डीबीटी प्रत्यक्ष लाभ अंतरण मोड़ के माध्यम से किए जाएंगे। भाग B के अंतर्गत नियोक्ताओं को भुगतान सीधे उनके PAN लिंक खातों में किया जाएगा।