मेरठ। बीते एक सप्ताह से घना कोहरा मेरठ की जनजा को कंपकपा रहा है। लगातार तीसरे दिन भी सूर्यदेव के दर्शन नहीं हुए जबकि दिन में भी आसमान में कोहरा छाया रहा। जबकि जिले का अधिकतम पारा भी 13.4 डिग्री सेल्सियस पर रूक गया जो सामान्य से आठ डिग्री कम है।
हालांकि रात में न्यूनतम तापमान सामान्य से अधिक बना हुआ है। शुक्रवार को न्यूनतम तापमान सामान्य से एक डिग्री अधिक 8.2 डिग्री सेल्सियस रहा। इस बार ठंड में कोहरे की भूमिका प्रभावी रही है। रात में कोहरे के चलते वाहनों और ट्रेनों की रफ्तार पर ब्रेक लग रहा है। वहीं दिन में इसकी परत सूर्य और धरती के बीच अवरोध का काम कर रही है। शुक्रवार को दिन और रात के तापमान का अंतर घटकर 5.2 डिग्री रह गया। जबरदस्त ठंड के चलते लोग घरों से बाहर निकलने से बच रहे हैं। शाम होने के बाद बेगमपुल और गढ़ रोड जैसी व्यस्त सड़कों पर सन्नाटा सा छा रहा है। गर्म कपड़े पहनने के बावजूद ठिठुरन कम नहीं हो रही है।
पिछले दिनों हिमालय क्षेत्र में आए पश्चिम विक्षोभ से वातावरण में नमी बढ़ी हुई है। जिससे गंगा के मैदानी क्षेत्रों में सघन कोहरा छा रहा है। दिन में कोहरे की परत धरती से 250-300 मीटर ऊंचाई पर बनी रहती है और हवा की गति कम होने से यह परत छंटने का नाम नहीं ले रही है। यही कारण है कि तीन दिन से सूरज के दर्शन नहीं हो रहें हैं।
मौसम एजेंसी स्काईमेट के उपाध्यक्ष महेश पलावत ने बताया कि आगामी दो दिन तक ठंड का प्रकोप इसी तरह जारी रहेगा। नौ जनवरी को कहीं-कहीं बूंदाबांदी हो सकती है।
जबकि सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि विश्वविद्यालय के मौसम केंद्र के प्रभारी डा. यूपी शाही का कहना है कि गेहूं और अन्य फसलों में संभावित वर्षा को देखते हुए अभी सिंचाई नहीं करनी चाहिए। मेरठ में फिलहाल दो दिन सर्दी से राहत के आसार नहीं, नौ को बूंदाबांदी के आसार बन रहें है। कोल्ड डे या शीत दिवस की स्थिति तब होती है, जब न्यूनतम तापमान 10 डिग्री से कम हो।
वहीं अधिकतम तापमान सामान्य से 4.5 से 5.5 डिग्री तक कम हो। यह स्थिति लगातार दो दिन तक होनी चाहिए। इसके बाद अगर अधिकतम तापामान 6.5 डिग्री या उससे अधिक कम हो जाता है तो गंभीर शीत दिवस और 7.5 डिग्री से अधिक कम हो तो अति गंभीर शीत दिवस होता है। मेरठ में शुक्रवार को अधिकतम तापमान सामान्य से आठ डिग्री कम था। यह अति गंभीर शीत दिवस की स्थिति रही।