सड़क दुघर्टना में कार के अंदर जिंदा जल गया मेरठ का पूरा परिवार,
सीकर से शव सीधे ब्रजघाट ले जाकर किया अंतिम संस्कार।
शारदा रिपोर्टर
मेरठ। राजस्थान के सीकर में सात लोगों के मरने की मनहूस खबर मेरठ पहुंची तो कोहराम मच गया। हार्दिक बिंदल का पूरा परिवार खत्म हो गया है। मौसी नीलम और उनके बेटे आशुतोष की भी मौत हो गई है। दोनों परिवारों का दुख इतना है कि शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता है। रिश्तेदारों की आंखों से आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। किसी की समझ में नहीं आ रहा है कि ढाढ़स बंधाएं तो कैसे बंधाएं। रात से दोनों परिवारों के घर पर सिसकियां गूंजती रहीं । परिचित-रिश्तेदार शवों के इंतजार में हैं।
मेरठ में मुकेश गोयल के बेटे और पत्नी की मौत की सूचना पर हैंडलूम वस्त्र व्यापारी संघ के पदाधिकारियों ने आपातकालीन बैठक बुलाकर सोमवार को खंदक बाजार बंद रखने का निर्णय लिया है। व्यापारी प्रतिष्ठान बंद कर शोक व्यक्त करेंगे। उन्होंने बताया कि पोस्टमार्टम के बाद सोमवार दोपहर तक शव मेरठ पहुंचने की उम्मीद है। उसके बाद अंतिम संस्कार किया जाएगा।
भाजपा के पूर्व विधायक सत्यप्रकाश अग्रवाल के साले स्वर्गीय महेश बिंदल का परिवार ब्रह्मपुरी के शिव शंकरपुरी कॉलोनी में रहता था। परिवार में बेटे हार्दिक बिंदल (40) हार्दिक की पत्नी स्वाति बिंदल (37) बेटी सिदीक्षा (6) नितीशा (2) और मां मंजू (62) थीं। हार्दिक शारदा रोड पर देसी तड़का नाम से रेस्टोरेंट और गारमेंट की दुकान करते थे।
शादी के बाद गठजोड़ा की रस्म के चलते परिवार को दर्शन करने सीकर जीण माता के मंदिर में जाना था। शनिवार को हार्दिक अपने परिवार और माधवपुरम के आरके पुरम में रहने वाली मौसी नीलम (55) व उनके बेटे आशुतोष (35) के साथ सेंट्रो कार से निकले थे। जीण माता के दर्शन करने के बाद रविवार को पूरा परिवार सालासर बालाजी के दर्शन करने जा रहा था।
शाम को सीकर जिले में फतेहपुर कोतवाली थाना क्षेत्र की आशीर्वाद पुलिया के पास कार आगे चल रहे ट्रक में घुस गई। भीषण टक्कर के बाद कार और ट्रक में आग लग गई। कार लॉक होने के कारण पीछे बैठे लोग बाहर नहीं निकल पाए। पलभर में परिवार के सभी सात लोग जिंदा जल गए। सूचना पर जब तक फायर ब्रिगेड मौके पर पहुंची, तब तक कार पूरी तरह से जल चुकी थी। शव बुरी तरह से जल गए थे। गाड़ी की नंबर प्लेट भी जल चुकी थी।
मोबाइल में मिले सिम से हुई पहचान
कार के पूरी तरह से जलने के कारण मृतकों की पहचान कर पाना मुश्किल था। कार में एक अधजला मोबाइल मिला तो उसमें से पुलिस ने सिम निकालकर दूसरे मोबाइल में डाल लिया। फोन आने पर पता चला कि सभी मृतक मेरठ के रहने वाले हैं। इसके बाद पुलिस ने मेरठ में फोन करके सूचना दी। आशुतोष की बहन नेहा ने फोन सुना। इसके बाद हार्दिक के ताऊ को सूचना दी गई। रिश्तेदार शवों को लाने के लिए सीकर पहुंच गए हैं। सोमवार को पोस्टमार्टम के बाद शवों को मेरठ लाया जाएगा।
हर कोई सदमे में, नहीं थम रहे आंसू
दर्दनाक हादसे ने हार्दिक बिंदल के पूरे परिवार को लील लिया। रिश्तेदार समझ ही नहीं पा रहे हैं कि करें तो क्या करें। हार्दिक के परिवार में अब उसके ताऊ संत कुमार चावल वाले, उनकी पत्नी कमलेश और बेटा सत्यम ही बचे हैं। दो बहनों महक और सुगंध की शादी हो चुकी है। ताई कमलेश और सत्यम का रो-रोकर बुरा हाल है। रात से रिश्तेदारों का घर पर तांता लगा है। लोगों ने बताया कि बड़ी खुशी के साथ परिवार दर्शन करने गया था, लेकिन कुछ नहीं बचा।
आशुतोष की पत्नी बेसुध, चार साल का है बेटा
माधवपुरम आरकेपुरम निवासी आशुतोष गोयल पिता मुकेश गोयल के साथ खंदक बाजार में अपनी आशुतोष टैक्सटाइल फर्म नाम से कपड़ों की दुकान पर बैठते थे। आशुतोष की पत्नी पारुल और चार साल का बेटा विनायक हैं। बेटे और पत्नी की मौत की सूचना मिलते ही मुकेश गोयल और रिश्तेदार सीकर रवाना हो गए।
आशुतोष की पत्नी पारुल रो-रोकर बदहवास हो गई। बेटे को देखकर वो बार-बार ये कहते हुए बेसुध हो जाती कि अपने पापा के बारे में पूछेगा तो मैं इसको क्या जवाब दूंगी। पारुल की हाल को देखकर हर किसी की आंख नम हो गई। आशुतोष की बहन नेहा का रो-रोकर बुरा हाल हो गया। वो कभी मां का नाम लेकर रोने लगती तो कभी भाई का नाम लेकर कहती रही कि अब परिवार का क्या होगा।
आज शोक में खंदक बाजार बंद रहा
मुकेश गोयल के बेटे और पत्नी की मौत की सूचना पर हैंडलूम वस्त्र व्यापारी संघ के पदाधिकारियों ने आपातकालीन बैठक बुलाकर सोमवार को खंदक बाजार बंद रखने का निर्णय लिया है। व्यापारियों ने प्रतिष्ठान बंद कर शोक व्यक्त किया।